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फरीदाबाद। भागदौड़ भरी जिंदगी में महिलाओं में यूरिनेरी ट्रैक्ट इंफेक्शन यानी यूटीआई की बीमारी बढ़ रही है। ज्यादातर महिलाएं साफ-सफाई पर ध्यान नहीं देती जिससे उन्हें संक्रमण होने का खतरा बढ़ जाता है और वह यूटीआई का शिकार हो जाती है। पनव हॉस्पीटल की महिला रोग विशेषज्ञ डॉ. निति सिंह ने बताया कि पुरुषों की तुलना में महिलाओं में यूटीआई की आशंका ज्यादा होती है। कई मामलों में तो यह भी देखा गया है कि महिलाएं एक बार से अधिक बार भी यूटीआई का शिकार हो जाती हैं। डॉ. निति ने बताया कि रोजाना 10 से 15 महिलाएं इस बीमारी का इलाज कराने अस्पताल में आती हैं। डॉ निति ने इसके लक्षण बताएं।
यूटीआई के कारण
डॉ. निति ने बताया कि यूटीआई होने का कारण महिलाओं का साफ न रहना है। चिकित्सकों के मुताबिक महिलाओं को पेशाब के बाद नियमित अपने गुप्तांग की सफाई करनी चाहिए। असल में गुप्तांग बेहद संवेदनशील शारीरिक भाग होने के साथ-साथ बाहरी संक्रमण फैलने का खतरा भी इसमें सबसे ज्यादा होता है। अगर यूरेथरा यानी वह ट्यूब जहां से यूरिन पास होता है, कि अच्छी तरह सफाई न की जाए तो संक्रमण वहां से होते हुए ब्लैडर तक पहुंच सकता है जो कि यूटीआई के जिम्मेदार होता है।
यूटीआई के लक्षण
यूटीआई से निजात पाने के लिए महिलाओं को चाहिए कि वे इसके लक्षणों को बेहतर तरीके से समझें और इसके विषय में पूरी जानकारी रखें। यूटीआई होने के पहले लक्षण में शामिल होता है गुप्तांग में जलन। इसके अलावा बार-बार यूरिन आना, जबकि हर बार पेशाब की मात्रा में कमी होती है। लोअर एब्डमन में दर्द होना है या किसी तरह का दबाव महसूस करना। यही नहीं यूटीआई होने पर महिला को हमेशा थकान महसूस होती है और कई स्थिति में जब संक्रमण बुरी स्थिति में पहुंच जाता है तो महिला को बुखार भी हो जाता है। असल में यूटीआई होने पर बुखार आने का मतलब है कि संक्रमण किडनी तक पहुंच गया है।
यूटीआई से संबंधित टेस्ट
अगर आपको उपरोक्त कोई भी लक्षण खुद में देखने को मिले तो तुरंत डाक्टर से संपर्क करें। विशेषज्ञ आपको यूटीआई टेस्ट के बोलते हैं, जिसके तहत वह आपके यूरिन सैंपल मांगते हैं। साफ-सफाई के लिए डॉ. अच्छे प्रोडक्ट भी लिख देंगे ताकि महिलाओं में यह बीमारी फैलने का खतरा कम हो जाए।