नौकरी से निकालने पर कर्मचारियों ने दिया धरना

नौकरी से निकालने पर कर्मचारियों ने दिया धरना
bechu giri
ईएसआईसी मेडिक़ल कॉलेज एवं अस्पताल के बाहर प्रदर्शन करते हुए सफाई कर्मचारी।

-अनिश्चितकालीन हड़ताल करने की दी चेतावनी
Todaybhaskar.com
faridabad। ईएसआईसी मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल एनआईटी तीन से नौकरी से निकालने पर सफाई कर्मचारियों ने अस्पताल प्रशासन के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया। कर्मचारियों ने बताया कि वह पिछले चार-पांच सालों से अस्पताल में काम कर रहे हैं। हर साल ठेकेदार बदला जाता है लेकिन कभी भी नौकरी से नहीं निकाला गया। इस बार नौकरी पर रखने का ठेका नए ठेकेदार को सौंप दिया। ठेकेदार ने कर्मचारियों के साक्षात्कार तो लिए लेकिन अजीब सवालोंं के जबाव न देने के एवज में कर्मचारियों को बाहर निकाल दिया। कर्मचरियों को बिना नोटिस दिए नौकरी से निकाल दिया गया। जिससे गुस्साए कर्मचारी सुबह से धरने पर बैठ गए। कर्मचारी नेता नरेश शास्त्री ने कहा कि हरियाणा सरकार व श्रम विभाग की हिदायतों के अनुसार ठेकेदार बदल सकता है लेकिन मजदूर नहीं बदला जाएगा। यदि ठेकेदार मजदूरों का शोषण करता है और ठेके की तय शर्तों के अनुसार कार्य नहीं करता है तो प्रबंधन की जिम्मेदारी बनती है कि वह हस्तक्षेप कर हरियाणा सरकार के आदेशों व श्रम कानूनों की परिपालना करवाए। इस मौके पर नगर निगम सफाई कर्मचारी यूनियन के प्रधान बलवीर सिंह बालगुहेर, ड्राईवर यूनियन के प्रधान परसराम अधाना, वाटर सप्लाई यूनियन के प्रधान रामकिशोर त्यागी, कर्मचारी संघ के नेता संजू पंवार, रवि मेंढवाल, संजय सझलाना, अनिल वैनीवाल, राकेश व अन्य मौजूद रहे।

नाकामी को दर्शाता है बार-बार प्रदर्शन
कर्मचारियों को ईएसआईसी के रिजनल बोर्ड के सलाहकार बेचू गिरी का कहना है कि बार-बार कर्मचारियों का धरना अस्पताल प्रशासन की नाकामी को दर्शाता है। कानून के हिसाब से कर्मचारियों को निकालने से पहले उन्हें नोटिस, ग्रेच्यूटी और पीएफ आदि देना होता है। लेकिन अस्पताल के डीन की ओर से कर्मचारियों के लिए कुछ नहीं किया जाता। पहले भी कर्मचारियों को नोटिस के बिना नौकरी से निकाल दिया था। तब मेघश्याम नाम के लडक़े ने फांसी लगाकर जान दे दी थी।

अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने की चेतावनी
नौकरी पर रखने की मांग को लेकर कर्मचारियों ने अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने की चेतावनी दी है। कर्मचारियों की ओर से अस्पताल प्रशासन को नोटिस दिया गया है कि उन्हें नौकरी पर नहीं रखा गया तो वह अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जाएंगे।

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