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new delhi| केन्द्र सरकार के दो मंत्री अपने बयानों को लेकर विपक्ष के निशाने पर हैं। रोहित वेमुला के मामले में मानव संसाधन विकास मंत्री स्मृति ईरानी पहले से ही विपक्ष के निशाने पर हैं। इस बीच उनके ही मंत्रालय के राज्यमंत्री रामशंकर कठेरिया भी आगरा में भड़काऊ भाषण को लेकर विपक्ष के निशाने पर आ गए हैं।
मामले से जुड़ी अहम जानकारियां :
दोनों मंत्रियों को लेकर संसद के दोनों सदनों में आज जमकर हंगामा हुआ, जिसके चलते कई बार कार्यवाही रोकनी पड़ी, हालांकि NDTV को सूत्रों के हवाले से जानकारी मिली है कि बीजेपी ने कठेरिया की सफ़ाई को मानते हुए उन्हें क्लीन चिट दे दी है, लेकिन क्या विपक्ष इस क्लीनचिट को मानेगा, ये बड़ा सवाल है।
विपक्ष ने राज्यसभा में स्मृति ईरानी पर गलतबयानी का आरोप लगाते हुए उनके खिलाफ विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव रखा है। राज्यसभा में गुलाम नबी आज़ाद ने यह प्रस्ताव रखा। इसके बाद राज्यसभा में जोरदार हंगामा हुआ, जिसके चलते कार्यवाही स्थगित करनी पड़ी।
सदन की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्ष ने हंगामा शुरू कर दिया, जिसकी वजह से राज्यसभा और लोकसभा को दो बार स्थगित करना पड़ा। विपक्ष के सदस्य हमें न्याय चाहिए के नारे लगा रहे थे। विपक्ष कठेरिया के इस्तीफे की मांग कर रहा है।
कठेरिया ने एक भाषण में हिन्दुओं को अपनी ताकत दिखाने के लिए ललकारा। आगरा में एक वीएचपी नेता की हत्या के बाद श्रद्धांजलि सभा में शरीक होने पहुंचे कठेरिया यहीं नहीं रुके उन्होंने कहा कि प्रशासन ये न समझे की मंत्री बनने से मेरे हाथ बंध गए हैं, वे भी कभी लाठी-डंडा लेकर चलते थे, हालांकि कठेरिया ने सफाई दी है कि उन्होंने कुछ भी भड़काऊ नहीं कहा।
हालांकि रामशंकर कठेरिया ने इस पर सफाई दी है कि मैंने ऐसा कोई बयान नहीं दिया। मैंने केवल इतना कहा कि हिन्दू समाज को अपना संरक्षण करना चाहिए। संगठित होना चाहिए। यही बोला है। बदला लेने या किसी समुदाय का नाम नहीं लिया। भाषण की पूरी सीडी है। हां, हत्यारों को फांसी हो ये जरूर कहा है।
इस मामले पर कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा, ऐसी बातें कर करके ही समाज को फोड़ने का और बांटने का बीजेपी और आरएसएस का यह प्लान है। जब जब चुनाव आते हैं, तब तब वे चुनाव को ध्यान में रखकर ऐसा करते हैं।
वहीं बीएसपी प्रमुख मायावती ने मांग की है कि ऐसे नेता को बर्खास्त कर देना चाहिए। उधर, जेडीयू के नेता अली अनवर ने कहा कि मंत्री का बयान देश के लिए खतरनाक है। ऐसे लोग देश की छवि खराब कर रहे हैं।
कांग्रेस के नेता पीएल पुनिया ने कहा कि कठेरिया ने सांप्रदायिक जहर उगला है। यह बयान अक्षम्य है। उन्हें मंत्रिमंडल में रहने का हक नहीं।
एमआईएम के नेता असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि एक मंत्री का इस तरह की बातें करना, जिससे दोनों संप्रदायों में और दूरियां बढ़े ठीक नहीं है। एक मंत्री का काम होता है पूरे मुल्क को साथ लेकर चले। ये सरकार सबका साथ और सबका विकास की बात करती है। अंदर कुछ और बात करते हैं, बाहर कुछ और बात करते हैं।